सरकारी लापरवाही का बड़ा मामला: जबलपुर के वेयरहाउस में चार साल से पड़ा अनाज सड़ने की कगार पर, भुगतान भी लंबित

A major case of government negligence: Grain lying in a Jabalpur warehouse for four years is on the verge of rotting, and payment is also pending.

जितेंद्र श्रीवास्तव ( विशेष संवाददाता )
जबलपुर। सरकारी उपेक्षा और प्रशासनिक उदासीनता का गंभीर उदाहरण तब सामने आया जब जबलपुर स्थित समस्त सरकारी वेयरहाउसों में पिछले चार वर्षों से भुगतान लंबित होने और गोदामों में रखा माल सड़ने की स्थिति में पहुंचने का मामला उजागर हुआ।
स्थानीय सूत्रों के अनुसार, इन वेयरहाउसों में किसानों से खरीदा गया अनाज लंबे समय से रखा हुआ है, जिसे न तो उठाया जा रहा है और न ही उसका सही रख-रखाव किया जा रहा है। सरकार द्वारा भंडारण का भुगतान न होने के कारण गोदाम संचालक भी रखरखाव पर खर्च नहीं कर पा रहे हैं।
परिणामस्वरूप, हजारों क्विंटल अनाज अब सड़ने और बेकार होने की स्थिति में पहुंच गया है। इससे न केवल किसानों को आर्थिक नुकसान हो रहा है, बल्कि सरकारी खजाने पर भी भारी बोझ पड़ने वाला है।
इस लापरवाही के विरोध में समस्त वेयरहाउस मालिकों की ओर से मौन प्रदर्शन किया जा रहा है। उनका कहना है कि वे पिछले कई महीनों से सरकार और प्रशासन को इस समस्या से अवगत करा चुके हैं, लेकिन अब तक किसी स्तर पर ठोस कार्यवाही नहीं की गई है।
किसानों का कहना है कि चार साल बीत जाने के बाद भी सरकार द्वारा भुगतान न मिलने से उनकी आर्थिक स्थिति डगमगा गई है। वहीं, गोदाम मालिकों का कहना है कि अगर जल्द समाधान नहीं हुआ तो वे गोदाम बंद करने पर विवश हो जाएंगे।
जानकारों का मानना है कि यह मामला खाद्य विभाग और जिला प्रशासन की गंभीर लापरवाही को उजागर करता है। अब देखने वाली बात यह होगी कि सरकार इस मुद्दे पर कब कार्रवाई करती है और किसानों व गोदाम मालिकों को न्याय कब तक मिलता है।