March 13, 2025

पंजाब में पैदा हो सकते हैं दिल्ली जैसे हालात, आप पार्टी को लड़नी होगी अस्तित्व की लड़ाई

0

नई दिल्ली
दिल्ली में करारी हार के बाद पंजाब में भी आम आदमी पार्टी (AAP) के लिए बड़ी चुनौती खड़ी हो गई है। 10 साल राजधानी में काबिज रहने के बाद अरविंद केजरीवाल ने भी कभी नहीं सोचा होगा कि चुनाव में जनता उन्हे इस तरह का झटका देगी। केजरीवाल खुद अपनी सीट पर हजार से ज्यादा वोटों के अंतर से हार गए। वहीं पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और मंत्री सौरभ भारद्वाज को भी कड़ी शिकस्त झेलनी पड़ी। 2013 के बाद दिल्ली में पहली बार AAP को हार का मुंह देखना पड़ा। इसमें बड़ा फैक्टर एंटी इनकंबेंसी भी है जिसका सामना पंजाब में भी करना पड़ेगा। ऐसे में आम आदमी पार्टी को अब अपने अस्तित्व की लड़ाई लड़नी है।

62 से सीधे 22 पर AAP
आम आदमी पार्टी ने पिछले विधानसभा चुनाव में 62 सीटों पर जीत दर्ज की थी। वहीं इस बार उसे मात्र 22 सीटों पर संतष करना पड़ा है। पार्टी का वोट शेयर भी 10 फीसदी कम होकर 43.57 प्रतिशत हो गया है। दिल्ली में ऐसी भी 14 सीटें थीं जिनपर जीत हार का फैसला बेहद कम अंतर से हुआ। इन सीटों पर 5 हजार से कम के अंतर से जीत हार हुई। वहीं अरविंद केजरीवाल ने दोपहर में ही अपनी हार स्वीकार कर ली। इसके बाद रविवार को आतिशी ने भी मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया।

मिडिल क्लास की नाराजगी पड़ी भारी
जानकारों का कहना है कि दिल्ली में आम आदमी पार्टी को मिडिल क्लास की नाराजगी का सामना करना पड़ा। वहीं बीजेपी ने 'शीश महल' का नाम लेकर चुनाव प्रचार किया जो कि मिडल क्लास का मुद्दा बन गया। वहीं दिल्ली के लोगों ने उपराज्यपाल और दिल्ली सरकार के बीच खींचतान को भी देखा है। ऐसे में डबल इंजन की सरकार के प्रति लोगों ने भरोसा जता दिया। इस बात से भी इनकार नहीं किया जा सकता कि आम आदमी पार्टी ने गरीबों के वोट से पकड़ खो दी है। इस चुनाव में भी गरीबों ने आम आदमी पार्टी का खुलकर साथ दिया है।

आम आदमी पार्टी अब भी एमसीडी पर काबिज है। 250 मे से 134 सीटें आम आदमी पार्टी के पास हैं। ऐसे में दिल्ली के लोगों के साथ AAP का जुड़ाव खत्म नहीं होने वाला है। वहीं आम आदमी पार्टी की हालत बीजेपी जैसी नहीं हुआ है। अब भी विधानसभा में उसके 22 सदस्य होंगे। आम आदमी पार्टी विधानसभा में सक्रिय विपक्ष की भूमिका निभा सकती है।

वहीं पंजाब की बात करें तो वहां आम आदमी पार्टी के लिए लोकसभा चुनाव के दौरान ही खतरे की घंटी बज गई थी। वहीं दिल्ली का चुनाव आम आदमी पार्टी को फिर सावधान कर रहा है। यह भी चर्चा है कि पंजाब में भी कई AAP विधायक असंतुष्ट हैं। ऐसे में पंजाब पर पकड़ बनाए रखने के लिए आम आदमी पार्टी को जमीन पर उतरना पड़ेगा। पार्टी के सामने सबसे बड़ी चुनौती भ्रष्टाचार के आरोपों से पार पाने की है। पीएम मोदी ने साफ कह दिया है कि दिल्ली में भ्रष्टाचार की चांज करवाई जाएगी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

slot server thailand super gacor

spaceman slot gacor

slot gacor 777

slot gacor

Nexus Slot Engine

bonus new member

olympus

situs slot bet 200

slot gacor

slot qris

link alternatif ceriabet

slot kamboja

slot 10 ribu

https://mediatamanews.com/

slot88 resmi

slot777

https://sandcastlefunco.com/

slot bet 100

situs judi bola

slot depo 10k

slot88

slot 777

spaceman slot pragmatic

slot bonus

slot gacor deposit pulsa

rtp slot pragmatic tertinggi hari ini

slot mahjong gacor

slot deposit 5000 tanpa potongan

https://www.deschutesjunctionpizzagrill.com/

spbo terlengkap